पोर्ट लुईस,समाचार10 India-रिपोर्ट. शाश्वत तिवारी। विदेश सचिव विक्रम मिसरी ने 1 जुलाई को मॉरीशस गणराज्य का आधिकारिक दौरा किया और प्रधानमंत्री नवीनचंद्र रामगुलाम तथा राष्ट्रपति धर्मबीर गोखूल से मुलाकात की। इस दौरान दोनों पक्षों ने रणनीतिक साझेदारी को मजबूत करने की प्रतिबद्धता दोहराई।
विदेश सचिव के तौर पर मिसरी की मॉरीशस की यह दूसरी यात्रा है। यह यात्रा 24 जून को प्रधानमंत्री मोदी और मॉरीशस के प्रधानमंत्री रामगुलाम के बीच टेलीफोन पर हुई बातचीत के बाद हुई है, जिस दौरान दोनों नेताओं ने विभिन्न क्षेत्रों में चल रहे सहयोग पर चर्चा की और भारत और मॉरीशस के बीच बढ़ी हुई रणनीतिक साझेदारी को और मजबूत करने के लिए अपनी साझा प्रतिबद्धता की पुष्टि की। विदेश सचिव ने पीएम रामगुलाम और राष्ट्रपति गोखूल के अलावा उप प्रधानमंत्री पॉल बेरेंजर तथा विदेश मंत्री धनंजय रामफुल से भी मुलाकात की।
विदेश मंत्रालय ने एक बयान में कहा मॉरीशस के प्रधानमंत्री के साथ अपनी बैठक में विदेश सचिव ने पीएम मोदी द्वारा पीएम रामगुलाम को भारत आने का निमंत्रण दोहराया। दोनों पक्षों ने द्विपक्षीय सहयोग के संपूर्ण आयाम पर चर्चा की। विदेश सचिव ने विशेष और घनिष्ठ संबंधों को और मजबूत करने के लिए मार्गदर्शन मांगा और मॉरीशस के विकास, प्रगति और समृद्धि के लिए भारत की निरंतर प्रतिबद्धता से अवगत कराया। मादक पदार्थों की लत और संबंधित सामाजिक मुद्दों में वृद्धि के कारण मॉरीशस के सामने आने वाली चुनौतियों का समाधान करने के लिए मिलकर काम करने की प्रतिबद्धता के हिस्से के रूप में, विदेश सचिव ने विदेश मंत्री रामफुल को विशेष नशा-रोधी उपकरण सौंपे।
मंत्रालय ने कहा यह यात्रा दोनों देशों के बीच निरंतर उच्च-स्तरीय आदान-प्रदान का हिस्सा है और यह दर्शाती है कि भारत मॉरीशस के साथ अपने संबंधों को कितना महत्व देता है। हमारी ‘पड़ोसी प्रथम’ नीति, ‘विजन महासागर’ और ‘ग्लोबल साउथ’ के प्रति हमारी प्रतिबद्धता के अनुरूप, इस यात्रा ने दोनों देशों और बड़े हिंद महासागर क्षेत्र की समृद्धि एवं विकास के लिए बहुआयामी द्विपक्षीय साझेदारी को गहरा करने के लिए दोनों पक्षों की निरंतर प्रतिबद्धता की पुष्टि की।